
ग्वालियर न्यूज़ धमाका // जगजीत सिंह का एक गीत है न उम्र की सीमा हो, न जनम का हो बंधन, जब प्यार करे कोई तो देखे केवल मन। यह गाना 80 के दशक में काफी पापूलर हुआ था। लेकिन यह गाना मुरैना के कैलारस में चरितार्थ हुआ है। जहां एक 67 साल की महिला व 28 साल के युवक के बीच में प्रेम हो गया। अब वे एक दूसरे के साथ लिव इन में रहने के लिए कोर्ट में दस्तावेज तैयार कराए हैंं। जब दोनों ही प्रेमी कोर्ट में लिव इन रिलेशनशिप में रहने के लिए नोटरी कराने गए तो मामला सामने आया और काफी चर्चित हो गया।
आपने शहरों में लिव इन रिलेशन शिप के कई रोचक किस्से सुने हैं, लेकिन ग्वालियर में एक ऐसा अनोखा मामला आया है, जिसमें उम्र भी नहीं देखी है। 67 साल की महिला ने 28 साल के युवक के साथ लिव इन रिलेशन शिप रहने के लिए नोटरी कराई है। हालांकि नोटरी कोई कानूनी मतलब नहीं है, लेकिन बाद में धोखा न मिले, उसको लेकर अपनी-अपनी सहमति दी है। हालांकि दोनों मुरैना के कैलारस के रहने वाले हैं, लेकिन नोटिरी ग्वालियर में अाकर कराई है। जब यह कोर्ट पहुंचे तो विवाह संबंधी जानकारी मांग रहे थे, न्यायालय के स्टाफ से लंच में संपर्क किया तो उन्होंने नोटरी की सलाह दी। दोनों ने खुद को बालिग बताते हुए कहा कि अपने भविष्य के संबंध में फैसला लेने के लिए स्वतंत्र हैं। दोनों एक साथ रहने के लिए सहमत हैं। हाई कोर्ट बार एसोसिएशन के सचिव दिलीप अवस्थी बताते हैं कि विवाह में नोटरी का कोई कानूनी महत्व नहीं है। यदि नोटरी को न्यायालय में चुनौती दी जाती है तो वह मान्य नहीं है। दो बालिग साथ रहने के लिए स्वतंत्र होते हैं। लिव इन रिलेशन की बजाए दोनों विवाह भी कर सकते थे। दोनों पक्ष एक दूसरे का बचाव कर रहे हैं कि बाद कोई पलट न जाए। केस दर्ज न हो जाए। उस वक्त के लिए यह दस्तावेज बताने के लिए काम आएगा।
– जिला न्यायालय के नोटराइज्ड के यहां जब नोटरी हो रही थी, तब यह मामला काफी चर्चित रहा। वकील व वहां मौजूद पक्षकारों ने भी लिव इन के करार को पढ़ा। जिस युवक के साथ वह रहना चाह रही थी, वह उसके बेटे की उम्र के बराबर था।
– महिला बुजुर्ग हो चुकी है। जिस युवक ने विवाह किया है, उसकी व महिला की उम्र के बीच दुगने से अधिक का फासला है। प्यार में उम्र का फासला भी भूल गए हैं।